
NEWS GURU (पीडीडीयू नगर) । आम दिनों में बाहरी लोगों से पटे रहने वाले एआरटीओ कार्यालय में सोमवार को सबकुछ दुरूस्त मिला। एआरटीओ कार्यालय में दलालों की धड़पकड़ के लिए एसडीएम विराग पांडेय और एसडीएम अविनाश कुमार की संयुक्त टीम ने छापेमारी की। इस दौरान वहां सबकुछ सामान्य मिला। हालांकि अधिकारियों के अनुसार कार्यालय के बाहर गाड़ी रूकते ही कुछ लोग इधर-उधर भागते नजर आये लेकिन कार्यालय में सबकुछ ठीक मिला। इस दौरान अधिकारियों ने अन्य दस्तावेजों की भी जांच की।

चंदौली स्थित एआरटीओ कार्यालय कभी दलालों का प्रमुख अड्डा हुआ करता था। लाइसेंस बनवाने से लेकर रजिस्ट्रेशन कराने के लिए रेट फिक्स थे। कुछ वर्ष पहले एक तथाकथित सूची भी सोशल मीडिया पर वायरल भी हुई थीं । जिसपर प्रत्येक कार्य का एक रेट लिखा हुआ था । सूत्रों के अनुसार सबसे बड़ा खेल ओवरलोडिंग गाड़ियों को लेकर हुआ करता था। कई बार अधिकारियों की छापेमारी में बिचौलिए पकड़े भी थे । ओवलोडिंग के खेल में एआरटीओ आरएस यादव जेल भी जा चुके है। एक दौर था जब आरएस यादव का यहां सिक्का चलता था। प्रदेशभर में चंदौली एआरटीओ कार्यालय की छवि भ्रष्टाचार के प्रमुख गढ़ के रूप में होने लगी थी। सोमवार को एसडीएम विराग पांडेय और एसडीएम अविनाश कुमार एआरटीओ कार्यालय पहुंचे । इस दौरान टीम ने कार्यालय की घेराबंदी कर ली। वहां मौजूद लोगों से पूछताछ की और उनके दस्तावेजों को देखा। हालांकि कार्यालय में कोई भी संदिग्ध नहीं मिला। अधिकारियों ने विभाग के कर्मचारियों को आदेश दिया कि परिवहन विभाग से जुड़े कार्यो को लेकर आमजनमानस को कोई भी दिक्कत नहीं होनी चाहिए। टीम की इस छापेमारी से विभाग के कर्मचारियों में हड़कंप की स्थिति बनी रही।