Cbi की कार्रवाई का खौफ ऐसा कि दूसरे दिन DRM कार्यालय में कर्मियों की जुबां रही खामोश, आंखों में दिखा खौफ

NEWS GUURU पीडीडीयू नगर : मंडल रेल प्रबंधक कार्यालय से मंगलवार को दो मंडलीय अधिकारियों के साथ 26 रेलकर्मियों की गिरफ्तारी की घटना के बाद बुधवार को ऑफिस तो खुला रहा, काम भी हुआ पूरे परिसर में अजीब सा सन्नाटा पसरा रहा। कार्यालयोंं में जुबां खामोश थी लेकिन सभी के आंखों में अब आगे क्या होगा, यही सवाल था। वहीं आफिस के बाहर सिर्फ पेपर लीक मामले की चर्चा होती रही।

मंगलवार की रात सीबीआई ने रेलवे के विभागीय परीक्षा में पेपर लीक घोटाले का भंडाफोड़ किया। इस दौरान सीनियर डीईई (आपरेशन) के साथ आठ अधिकारी और 17 लोको पायलटों को गिरफ्तार किया। विभागीय परीक्षा में बैठने वाले लोको पायलट अभ्यर्थियों के पास से हस्तलिखित प्रश्नपत्रों की फोटो कापी बरामद की। इस दौरान छापेमारी के दौरान 1.17 करोड़ रुपये नकद भी बरामद हुए। बुधवार को दिन भर डीआरएम ऑफिस में अधिकारियों से पूछताछ होती रही। शाम तीन बजे अधिकारियों सहित 26 लोगों को कैदी वाहन में बैठाकर लखनऊ ले गई। इस दौरान डीआरएम ऑफिस के अंदर बाहरी व्यक्तियों के प्रवेश पर रोक लगाई थी।

बुधवार को मंडल रेल प्रबंधक कार्यालय अपने निर्धारित समय से खुला। अधिकारी भी समय से आफिस पहुंचे। सभी एक दूसरे का अभिवादन भी किया लेकिन सभी की आंखों में कल की घटना तैरती नजर आ रही थी। डीआरएम ऑफिस के ग्राउंड फ्लोर पर मुख्य गेट के समीप ही वरीय मंडल कार्मिक अधिकारी (सीनियर डीपीओ) का कार्यालय है। इस कार्यालय के बगल में सहायक मंडल कार्मिक अधिकारी आदि का भी कार्यालय है। सीनियर डीपीओ ऑफिस के अंदर ही चीफ ओएस भी बैठते हैं। दोनों को सीबीआई गिरफ्तार कर चुकी है। वहीं सीनियर डीपीओ कार्यालय के अंदर ही गोपनीय कक्ष है। बुधवार को सीनियर डीपीओ और ओएस नहीं रहे लेकिन गोपीनय कक्ष में काम होता रहा। इससे कार्यालय खुला रहा हालांकि दोपहर एक बजे जहां हमेशा चहल पहल रहती थी, वहां सन्नाटा पसरा था। इसी तरह मंडल कार्यालय के दूसरे तल पर सीनियर डीईई सुशांत परासर का कार्यालय है। इसके बगल में ही अन्य इंजीनियरिंग विभाग का भी कार्यालय है। सुशांत परासर के न रहने पर इनके कार्यालय पर तो ताला लगा ही था अन्य कार्यालय से भी अधिकारी गायब रहे।