जिस इमारत में बैठते हैं डीआरएम, वहीं प्रमोशन के नाम पर हो रहा था भ्रष्टाचार…

NEWS GUURU पीडीडीयू नगर : पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर स्थित डीआरएम कार्यालय में तैनात दो वरीय अधिकारियों पर प्रमोशन के नाम पर धांधली का आरोप लगा है । अधिकारियों की करतूत से डीआरएम बिल्डिंग दागदार हो गई है । प्रमोशन के नाम पर भ्रष्टाचार का पूरा खेल डीआरएम की नाक के नीचे चलता रहा लेकिन उन्हें इस बात की भनक नहीं लग सकी । सीबीआई के इस भ्रष्टाचार के खेल में कुछ 26 लोगों की गिरफ्तार किया है । इसमें। डीआरएम बिल्डिंग में बैठने वाले अधिकारी अधिकारी सीनियर डीईई(परिचालन) सुशांत परासर, सीनियर डीपीओ सुरजीत सिंह के साथ इनके काराकास के रूप में कार्य करने वाले अधिकारी शामिल है । सूत्रों की मानें तो जांच की आंच अभी ठंडी नहीं होगी । इस कृत्य से रेलवे की छवि पर बट्टा लगने के चलते कुछ बड़े अधिकारियों के तबादले भी हो सकते है।

मंगलवार को मुख्य लोको निरीक्षक 17 पद के लिए विभागीय परीक्षा होनी थी। परीक्षा में शामिल होने वाले 19 लोको पायलटों को नगर के कालीमहाल स्थित एक लॉन के अलावा सिद्धार्थपुर कालोनी स्थित रेलकर्मियों के घर ठहराया गया था। विभागीय सूत्रों के अनुसार इन लोको पायलटो से प्रमोशन के लिए आयोजित होने वाली परीक्षा के प्रश्न उपलब्ध कराने के नाम छह से नौ लाख रुपये की रकम वसूली गई थी।

सीबीआई सूत्रों के अनुसार डीडीयू रेल मंडल में तैनात एक लोको पायलट ने प्रमोशन के लिए आयोजित परीक्षा पास कराने के नाम पर रुपये मांगे जाने की शिकायत सीबीआई से की थी।

सोमवार को दिन में एक साथ कई स्थानों पर छापेमारी की। सीबीआई ने डीआरएम कार्यालय में तैनात संदिग्ध रेलकर्मियों को घरों में नजरबंद कर दिया। घंटो चली पूछताछ के बाद सीबीआई ने रात में सिद्धार्थपुरम कालोनी स्थित रेलकर्मियों के साथ-साथ काली महाल स्थित एक लॉन में ठहने 17 लोको पायलटो का धर दबोचा।

इसके बाद टीम ने रेलकर्मी संजय मिश्रा, नीरज वर्मा, अजीत सिंह, राकेश कुमार, अनीश कुमार के साथ सीनियर डीईई(परिचालन) सुशांत परासर, सीनियर डीपीओ सुरजीत सिंह को उठाकर अपने साथ ले गई।

टीम ने सभी रेलकर्मियों और अधिकारियों से डीआरएम कार्यालय में नजरबंद कर पूछताछ शुरू की। मंगलवार दोपहर तीन बजे तक सभी आरोपियों से पूछताछ करने के बाद सीबीआई ने सभी को हिरासत में ले लिया और अपने साथ वाहन से लेकर लखनऊ के लिए रवाना हो गई। पूरी कारवाई में 1.17 करोड़ रुपए की बरामदगी सीबीआई ने अधिकारियों और कर्मचारियों के घर से की थी ।